काठमांडू, 11 दिसंबर (न्यूज़ एजेंसी)। चीन सरकार ने भारत में निर्वासित जीवन व्यतीत कर रहे दलाई लामा का उत्तराधिकारी पंचेम लामा को घोषित किया है। चीन के तमाम प्रयासों के बावजूद दलाई लामा और उनके अनुयायियों ने इस फैसले को स्वीकार नहीं किया है, लेकिन अब चीन पंचेम लामा को नेपाल भेज कर अंतराष्ट्रीय मंचों पर स्थापित करने का प्रयास कर रहा है। नेपाल की सरकार ने उन्हें अपने देश में आने की इजाजत दी है।
चीन ने इससे पहले भी तिब्बती धर्मगुरु दलाई लामा को विस्थापित करने के लिए अपनी तरफ से घोषित किए गए उनके उत्तराधिकारी पंचेम लामा को नेपाल भेजने का प्रयास किया था, लेकिन अब तक इसकी इजाजत नहीं दी गई थी। अब लुंबिनी में 12 से 15 दिसंबर तक आयोजित किए जाने वाले बुद्धिज़्म राउंड टेबल कांफ्रेंस में शामिल होने के लिए पंचेम लामा को आमंत्रित किया गया है। इसकी पुष्टि करते हुए लुंबिनी विकास कोष के उपाध्यक्ष ल्हारक्यार लामा ने बताया कि अगर अंतिम समय में कुछ परिवर्तन नहीं हुआ तो 12 दिसंबर को चार्टर्ड प्लेन से पंचेम लामा लुंबिनी आएंगे। उन्होंने कहा कि इसे एक धार्मिक सद्भावना यात्रा के रूप में देखा जाना चाहिए। सरकार ने भी पंचेम लामा को नेपाल में आने की इजाजत दे दी है।
चीन की ओर से घोषित दलाई लामा के उत्तराधिकारी पंचेम लामा के नेपाल भ्रमण से नेपाल, भारत सहित दुनिया के अन्य बौद्ध धर्मावलंबियों के बीच तनाव पैदा हो गया है, क्योंकि दलाई लामा के अनुयायी उन्हें उत्तराधिकारी मानने से अब तक इंकार कर रहे हैं। ऐसे में इनका आरोप है कि चीन सरकार जबरन पंचेम लामा को तिब्बतियों के ऊपर थोपने का प्रयास कर रही है।
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न्यूज़ एजेंसी/ पंकज दास
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