“डोनाल्ड ट्रंप ने भारतीय-अमेरिकी काश पटेल को FBI के अगले निदेशक के रूप में चुना है। पटेल ने FBI में क्रांतिकारी सुधारों का प्रस्ताव दिया है और ‘डीप स्टेट’ के खिलाफ कड़ा रुख अपनाया है।”
कौन हैं काश पटेल?
कश्यप प्रमोद पटेल, जिन्हें काश पटेल के नाम से जाना जाता है, भारतीय मूल के अमेरिकी हैं। उनका जन्म 25 फरवरी 1980 को न्यूयॉर्क में हुआ। उनके माता-पिता पूर्वी अफ्रीका से अमेरिका आए गुजराती प्रवासी हैं। पटेल ने कानून में करियर शुरू किया और ट्रंप प्रशासन के पहले कार्यकाल में कई प्रमुख पदों पर कार्य किया।
ट्रंप प्रशासन में भूमिका:
- काश पटेल ने राष्ट्रीय खुफिया निदेशक कार्यालय और रक्षा विभाग में काम किया।
- उन्होंने हाउस इंटेलिजेंस कमेटी के चेयरमैन डेविन नुन्स के साथ वरिष्ठ परामर्शदाता के रूप में कार्य किया।
- वह “नुन्स मेमो” के प्रमुख लेखक थे, जिसने FBI पर ट्रंप अभियान की निगरानी में शक्तियों के दुरुपयोग का आरोप लगाया।
काश पटेल का विज़न:
पटेल ने FBI में निम्नलिखित सुधारों का प्रस्ताव रखा है:
- FBI की खुफिया संचालन इकाई को भंग करना।
- संगठन के मुख्यालय को “डीप स्टेट म्यूजियम” में बदलना।
- JFK हत्या और 9/11 हमले से जुड़े गोपनीय दस्तावेजों को सार्वजनिक करना।
- सरकारी अधिकारियों द्वारा मीडिया में जानकारियां लीक करने पर कड़ी कार्रवाई।
- FBI की आपराधिक जांच पर अधिक फोकस करना।
विवाद और चुनौतियां:
- पटेल को उनके “डीप स्टेट” विरोधी बयानों और मीडिया आलोचना के कारण विवादित व्यक्ति माना जाता है।
- उन्होंने ट्रंप के आलोचकों और “रिग्ड चुनाव” के कथित षड्यंत्रकारियों के खिलाफ सख्त कदम उठाने की बात कही है।
- उनके प्रस्तावों को प्रशासनिक और राजनीतिक बाधाओं का सामना करना पड़ सकता है।
FBI का भविष्य:
काश पटेल की नियुक्ति FBI के कामकाज में बड़ा बदलाव ला सकती है। हालांकि, उनके कई प्रस्तावों को लागू करने के लिए व्यापक समर्थन की आवश्यकता होगी।
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