
लाेहरदगा, 5 फ़रवरी (न्यूज़ एजेंसी)। लोहरदगा के बीएस कॉलेज में जिला विधिक सेवा प्राधिकार के जरिये बुधवार को विधिक साक्षरता कार्यक्रम का आयोजन किया गया।
इस कार्यक्रम में मुख्य रूप से डीएलएसए सचिव राजेश कुमार शामिल हुए। कार्यक्रम में पैनल अधिवक्ता मोमिना खातून, शशि गुप्ता प्रभारी प्राचार्य बीएस कॉलेज, पीएलवी गौतम लेनिन और पीएलवी नेहमंती मिंज शामिल हुए।
इस मौके पर डीएलएसए सचिव राजेश कुमार ने कहा की जघन्य अपराध के लिए कड़ी से कड़ी सजा का प्रावधान है। एक जुलाई से लागू नया कानून भारतीय न्याय संहिता, भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता और भारतीय साक्ष्य अधिनियम लागू हो चुका है। इसके बाद कानून में जीरो एफआईआर, ई एफआईआर प्रभावी रुप से लागू हो चुका है।
कुमार ने कहा कि जिला विधिक सेवा प्राधिकार तीन लाख रूपए से कम आय वालों को क्रिमिनल या फिर सिविल मामले में निःशुल्क अधिवक्ता उपलब्ध कराने का काम करता है। डीएलएसए सचिव राजेश कुमार ने कहा कि कानून की जानकारी होना हमें बहुत जरुरी है। क्योंकि कानून की जानकारी के अभाव में यह पता नहीं चल पाता है कि किसी मामले में क्या लिगल लाभ हमें मिल सकता है। साथ ही इन्होंने कहा की शादी विवाह के दौरान जबरन ली जानी वाली चीजें दहेज के अधीन आती है। ऐसे मामलों पर कानूनी सहायता लेने के लिए आगे आना चाहिए।
दिल्ली में हुए निर्भया कांड के बाद पॉक्सो एक्ट को स्वरुप देते हुए लागू किया गया। जिसमें 18 साल से कम उम्र के बच्चें बच्चियों में से किसी एक के साथ किसी भी प्रकार का लैंगिक अपराध किया जाता है तो कोर्ट मामले की गंभीरता को देखते हुए कड़े फैसले सुना सकती है। डीएलएसए सचिव ने बीएस कॉलेज के विधार्थियों को जेंडर न्यूट्रल लॉ के बारे में भी जानकारी दी। साथ ही इन्होंने हिंट एंड रन के मामलों को विस्तार पूर्वक जानकारी देते हुए कहा की घटना की सूचना और सहयोग करने वाले लोगों को सरकार के द्वारा प्रोत्साहित किया जाता है। घायल को अस्पताल पहुंचाने पर इनाम के तौर पर पांच हजार रुपए देने का भी प्रावधान है। साथ ही घटना में पीड़ित पक्ष को भी कानूनी सहायता और मुआवजा देने का प्रावधान है। साथ ही छात्र-छात्राओं को डिजिटल अरेस्ट होने और इससे बचने की जानकारी दी गई। इस मौके पर बीएस कॉलेज के शिक्षक शिक्षिकाएं मौजूद थी।
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न्यूज़ एजेंसी/ गोपी कृष्ण कुँवर
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