– खेल, युवा एवं सांस्कृतिक विकास विभाग तथा ‘सेव कल्चर, सेव भारत फाउंडेशन’ ने आयाेजित किया पुरस्कार समारोह
सूरत, 22 दिसंबर (न्यूज़ एजेंसी)। मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल ने संस्कृति, सदाचार और सामाजिक मूल्यों के लिए अनन्य योगदान देने वाले विभिन्न क्षेत्रों के आठ समाजसेवियाें को रविवार
‘गुजरात सांस्कृतिक योद्धा पुरस्कार’ से नवाजा। यह पुरस्कार उन्हें सूरत के वीर नर्मद दक्षिण गुजरात विश्वविद्यालय के कन्वेंशन हॉल में राज्य सरकार के खेल, युवा एवं सांस्कृतिक गतिविधि विभाग संचालित गुजरात राज्य संगीत नाटक अकादमी ने ‘सेव कल्चर, सेव भारत फाउंडेशन’ की प्रेरणा से आयाेजित समारोह दिया गया।
मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर कहा कि समाज में दूषण फैलाने वाले तत्वों की असामाजिक गतिविधियों को मूकदर्शन बनकर देखने के बजाय सकारात्मकता फैलाकर काउंटर अटैक करना आवश्यक है। सोशल मीडिया प्रभावशाली बना है, परंतु नकारात्मक के विरुद्ध सकारात्मक बनकर सांस्कृतिक मूल्यों के मूल पर हमला करने वाले लोगों के विरुद्ध लड़ना तथा समाज को भी जागृत करना आवश्यक है।
मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल ने सांस्कृतिक चेतना एवं राष्ट्र भावना से मूल्यनिष्ठ समाज का निर्माण करने में उत्कृष्ट योगदान देने के लिए साँवरप्रसाद रामप्रसाद बुधिया, सुधा काकडिया नाकराणी, नंदकिशोर शर्मा, केशवभाई गोटी, गीताबेन श्रॉफ, तरुण मिश्रा, कोमलबेन सावलिया और प्रतिभा देसाई (वकील) को ‘गुजरात सांस्कृतिक योद्धा पुरस्कार’ से सम्मानित किया। मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल तथा खेल, सांस्कृतिक गतिविधि विभाग के राज्य मंत्री हर्ष संघवी ने प्रत्येक समाज सेवक को पुरस्कार के साथ एक लाख रुपये की नकद राशि, प्रशस्ति पत्र तथा स्मृति चिह्न प्रदान किए।
संयुक्त परिवार एवं समाज में एकता व सद्भावना हमारी संस्कृति है : हर्ष संघवी
खेल, सांस्कृतिक गतिविधि विभाग के राज्य मंत्री हर्ष संघवी ने कहा कि संयुक्त परिवार एवं समाज में एकता व सद्भावना हमारी संस्कृति है, जिसका संरक्षण करने के लिए गुजरात में प्रभावी कार्य हो रहे हैं। उन्होंने कहा कि शील, संस्कृति एवं सदाचार की रक्षा के लिए समर्पित लोगों, समाज में बदलाव लाकर संस्कृति का जतन व रक्षण करने वाली विरल प्रतिभाओं तथा पथदर्शकों को खेल, युवा एवं सांस्कृतिक गतिविधि विभाग के नेतृत्व में कार्यरत गुजरात राज्य संगीत नाटक अकादमी ने ‘सेव कल्चर, सेव भारत फाउंडेशन’ की प्रेरणा से ‘गुजरात सांस्कृतिक योद्धा पुरस्कार’ से सम्मानित करने का निर्णय राज्य सरकार ने किया है। पिछले वर्ष पुलिस काउंसलिंग के माध्यम से वृद्धाश्रमों में रह रहे लगभग 16 वृद्धजनों को तथा उनकी संतानों को एक करने और वृद्धजनों को अपने घर वापस ले जाने में सफलता मिली है।
विकृत सामग्री के निर्माताओं के विरुद्ध संपूर्ण युद्ध करने की आवश्यकता : माहुरकर
लेखक, पत्रकार, इतिहासकार, पूर्व सूचना आयुक्त तथा ‘सेव कल्चर, सेव भारत फाउंडेशन’ के संस्थापक उदय माहुरकर ने कहा कि विकृत सामग्री के निर्माताओं के विरुद्ध युद्ध लड़ने की आवश्यकता है। भारत को एक महान राष्ट्र बनाने के लिए विकृत सामग्री के निर्माताओं के विरुद्ध संपूर्ण युद्ध करने की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि ओटीटी तथा सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर दर्शाए जाने वाले कार्यक्रमों पर नियमन होने के बावजूद अपशब्द, अश्लीलता तथा व्याभिचार के दृश्य एवं सनातन संस्कृति विरोधी दृश्य दर्शाए जाते हैं, जिनसे व्यक्तियों तथा विशेष रूप से किशोरों व युवाओं के मानस पर विकृत प्रभाव पड़ता है। हाल में उपलब्ध 900 ओटीटी प्लेटफॉर्म में से 800 ओटीटी प्लेटफॉर्म पर विकृति परोसी जा रही है, जो समाज के लिए रेड सिग्नल समान है। माहुरकर ने कहा कि राज्यभर में विशाल स्तर पर ‘गुजरात सांस्कृतिक वक्तृत्व प्रतियोगिता 2025’ आयोजित होगी, जिसमें 2800 कॉलेजों के 20 हजार युवा छात्र-छात्राएं भाग लेंगे। इस अवसर पर उपस्थित सभी लोगों ने विकृति फैलाने वाले असामाजिक तत्वों के विरुद्ध समाज को जागृत करने वाली लघु फिल्म ‘कृपया ध्यान दें’ और ‘एक लड़की’ देखी। गुजरात राज्य संगीत नाटक अकादमी के अध्यक्ष आलोक कुमार पांडे ने स्वागत संबोधन किया।
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न्यूज़ एजेंसी/ बिनोद पाण्डेय
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